Wings of Destiny Part 30
कल्पना के वो शब्द जैसे,गीतिका का दिल चीर रहे थे।उसे बिल्कुल बर्दाश्त नहीं हो रहा था।वह अपने कमरे के टेबल पर पड़ी सारी चीजें अपने दोनों हाथों से बिखेर देती है, अपने बेड पर पड़ी पिलोस फेंक देती है,चादर ब्लैंकेट उन्हें उठाकर बेड से नीचे फेंक देती है और उसकी आंखों से पानी गिरता चला जाता है,गिरता चला जाता है।
मेरी ही गलती है,मैंने ही, मैंने ही ऐसे बेहीज़ इनसान को अच्छा समझने की गलती की। वह अच्छा समझने लायक नहीं है,यह मेरे दिल की ही गलती है,कि मैंने उस एरोगेंट इंसान को पसंद करने की गलती की।यह मेरे ही दिल की गलती है जो उसे पसंद करने लगा।सारी मेरी गलती है, वह इंसान नफरत के काबिल भी, नहीं बिल्कुल भी नहीं।( अपनी बातें कहते कहते ही अपने कमरे की ऑलमोस्ट ऑलमोस्ट सारी चीजों को बिखेर दिया था उसने)
खुद की
उंगलियों को हर्ट कर लिया था। उसी हाथ की उंगलियों को जिस हाथ के शोल्डर से वो परेशान थी।गीतिका जब अपने लफ्जों को कहकर हार जाती है। तो वहीं दीवार से लगकर नीचे सरकती है, अपने रोते हुए चेहरे को अपने घुटनो में छुपा लेती है। क्या उसके सारे अरमान बिखर गए थे। जो अभी अभी उसने बुनना शुरू किए थे।
एक पंचिंग बैग हवा में लगातार तैर रहा था। बार-बार लगातार अपने ऊपर पंच झेल रहा था।उस पंचिंग बैग को जरा सी भी फुर्सत नहीं थी, कि वह सांस ले सके। उस इंसान की वो पतली सी टीशर्ट पूरी भींग चुकी थी,अपने बालों को उठाकर उसने ऊपर की तरफ बांध दिया था।कश्मीर की इस ठंड में पसीने की बूंदे उसके सर से निकलकर उसकी जलाइन पर कट जा रही थी।वो और कोई नहीं कल्पना थी।
कल्पना अपने पंचों को लगातार एक के बाद एक उस बैग पर मारती रहती है श।उसके बालों से पसीने की बूंदे ऐसे झटकती है,जैसे वह उन्हें अभी पानी से भिंगा कर आई है। कल्पना के ब्रेन की कैसेट में वह सारी तस्वीरें उसके पंच के साथ-साथ गायब भी हो रही थी और विजिबल भी हो रही थी। गीतिका का वह सर झुकाए उसके सामने खड़े रहना,उसकी आंखों को छोड़ता हुआ उसके इकलौता आंसू, तो कभी वह बचपने वाली उसकी हरकतें जो उस रात व कर रही थी। गीतिका का आकर झटके से उसकी गोद में बैठ जाना तो कभी अपने चेहरे के हर अंग पर उसका भोसा मांगना। उसके वो नशे में करे हुए डांस स्टेप, उसके गाल पर बनाया हुआ इसी का वह निशान और सबसे बड़ा,सबसे बड़ा डॉक्टर का वह बताना कि उसकी अम्मा को ब्लड डोनेट करने वाला और कोई नहीं गीतिका ही थी। और क्या नहीं जो उस पिक्चर में ऐड होना चाह रहा था। यह सब कुछ हाई स्पीड में उसकी मेमोरी में दौड़ रहा था और उसी का पीछा कर रहे थे उसके वह पंच इसी कमरे में थोड़ी दूर टेबल पर रखा उसका फोन तीन से चार बार रिंग कर चुका था। पांचवी बार उस फोन की रिंग पर कल्पना अपने पंचों को रोक देती है, जिससे बड़ी तेजी से उसकी तरफ व पंचिंग बैग बढ़ता है कल्पना उसको दोनों हाथों से कस कर पकड़ लेती है बैग को उसे अपनी जगह याद दिला देती है।
हैलो (यह कहते हुए कल्पना के कंधे सीधे हो गए थे)
यह कॉल बेस से था।
इन 15 मिनट्स( यह कहकर कल्पना अपने मोबाइल को कान से हटाते हुए बाहर की तरफ निकल जाती है)
सॉरी अब यह गलती कभी नहीं होगी मिस कल्पना पांडे आप एक एरोगेंट औरत थी और वही रहेंगी,जिसे बेहिज कहते हैं।आपको अच्छा इंसान समझना दुनिया की सबसे बड़ी बेवकूफी है। अब यह गलती कभी नहीं होगी मुझसे,कभी नहीं होगी मिस कल्पना पांडे। (गीतिका ने यह कहकर अपने चेहरे को ऊपर उठाकर अपने आंसुओं को पोछ दिया था)
यहां पूरी ड्रैगन टीम अपने हेलमेट को अपने अपने बाजु में दबाए अपने अपने जेट पर सवार होने की के लिए रेडी थी।
रेडी फाइटर्स (सी'ओ सर ने अपनी आवाज को बुलंद करते हुए कहा)
रेडी सर(इन सबके शोल्डर बुलंद हो गए)
गो एंड टेस्ट योर एनीमीज( सी'ओ सर ने अपने अंदाज में इन्हें ऑर्डर दिया)
रॉजर सर(इन सबने अपने अंदाज में उस ऑर्डर को एक्सेप्ट किया)
यह टीम अपने-अपने जेट पर सवार हो गई।कल्पना ने हमेशा की तरह अपनी इंडेक्स फिंगर से अपनी उड़ान भरने का इशारा किया। रनवे को छोड़ती हुई,वह हवा में हो गई।
गीतिका ऑफिस पहुंचती है और सीधा अपने ड्रॉर से वह पैकेट निकालती है और उन फोटोस को फिर से एक बार गौर से देखती है उसकी संजीदगी उसके चेहरे से झलक रही थी। मोबाइल निकालकर उसने नंबर डायल किया
हेलो
हां सूरज मैंने तुझे कुछ पिक्चर्स भेजे हैं इनको कंफर्म करना है क्योंकि मुझे यह कॉलम में डालना है।(गीतिका ने सिधे शब्दों में कहा)
ओके मुझे दस मिनट दे मैं कंफर्म करके तुझे बताता हूं (सूरज ने बहुत कॉन्फिडेंस होकर कहा)
दिए 25 मिनट (यह कहकर गीतिका ने फोन कट कर दिया)
इन हवाओं को अपने पंखों से चीरते हुए यह टीम वहां पहुंच जाती है जहां का इन्हें टारगेट दिया है। यह जैसे ही यहां पहुंचते हैं व कायर इन पर कुछ चुटपुटीयौं से वार करते हैं। कल्पना अपने जेट को 45 डिग्री पर घुमाकर सी कर्व देती है,
आ नॉट बैड हां (कल्पना ने यह इनके चुटपुट पटाखों पर कहा)
कल्पना जब हवा में होती है अपने जट पर सवार होती है तो इस आसमान को भी वह कहीं ना कहीं पीछे मोड़ देती है।
हे पार्थ मुझे यही रथ रोकने की आज्ञा दो,क्योंकि मेरे फ्लेयर्स मचल रहे हैं अपने अपने टारगेट को हिट करने के लिए (कल्पना अपनी उत्साहिता भरे अंदाज में नजर आई उसने ऊंची आवाज में अभी से कहा)
तथास्तु सारथी (अभी भी उसके इस भाव को कॉपी करता नजर आया) और उसने उसे डायरेक्शन दे दी अभी का डायरेक्शन पाते ही कल्पना अपने फ्लेयर्स को रिलीज कर देती है,जो एक के पीछे एक अपने दुश्मनों का रास्ता धुंधला कर देते हैं।
बुलज़ आई (अभी ने पीछे मुड़कर देखा और अपना ये एक्शन किया)
कल्पना ने अपने जेट को आगे इन दुश्मनों के ग्रुप में घुसा दिया था। इसके पीछे सैम अपने जेट लेकर आ जाता है और इसे कवर करता है।कल्पना इस मिशन को लीड कर रही थी वह सैम को डायरेक्शन देती है, चेंज करने के लिए अपनी दिशा और दुश्मनों को घेरने का ऑर्डर देती है,अभी ने कल्पना को डायरेक्शन दिया)
रॉजर पार्थ (और कल्पना ने उसका डायरेक्शन लेते ही मिसाइल रिलीज कर दी) मिसाइल रिलीज करते ही अपने जेट को इन दुश्मनों के ग्रुप से निकाल लेती है कल्पना और दूसरी डायरेक्शन ले लेती है दूसरी तरफ से मिसाइल छोड़ते हुए श,सैम भी इसके पीछे पीछे आता है।
हा मिशन कंप्लीट बॉयज( कल्पना यह कहकर अपना मास्क उतारती है) तब उसकी स्माइल से नजर आता है जो साफ-साफ बताती है कि वह फिर से यह दुनिया जीत गई यह जंग जीत गई और फिर उन सभी के मुंह पर तमाचा मार दिया जो यह कहते हैं गर्ल्स कैन नॉट फ्लाई।
यस यू आर इनक्रेडिबल पांडा( सैम ने भी अपने पंच को अपने जेट में मारकर कहा)
जो कल्पना ने कहा था कि इन्हें ये जमीन पर उतरने का मौका तक नहीं देगी वह उसने कर दिखाया। जितनी चंचलता यहां आसमान में दिख रही थी ड्रैगन टीम में वहीं कंट्रोल रूम में भी ऐसी ही चंचलता सी'ओ सर,फ्लाइंग कमिश्नर,और बाकी के ऑफिसर में नजर आई।जो इनकी लोकेशन को रडार पर देख रहे थे।
यू आर माय बेस्ट पायलट पांडा( सी'ओ सर का सीना चौड़ा हो गया)
सीओ सर ने हवा में पंच मारते हुए कहा और अपनी बात को आगे किया।
बेस्ट जॉब पांडा यू डिड इट अगेन (उन्होंने अपने माइक को नजदीक करते हुए कहा)
थैंक यू सर (पांडा ने उनकी बात का जवाब दिया)
कमोन बैक बैक (सी'ओ सर ने वापस आने का ऑर्डर दिया)
रडार पर देखा कि किस तरह दुश्मनों के जेट के पर कच्चे उड़ गए थे। -कॉपी दैट (यह जो ड्रैगन टीम थी उन सबने सीओ सर के ऑर्डर को कॉपी किया)
कल्पना ने अपनी टीम को बेस पर पहुंचने का ऑर्डर दिया तो यह टीम अपनी जंग फतह करके अपने बेस की तरफ बढ़ गई और रनवे पर अपने अपने जेट उतारने लगी। सबसे लास्ट में पांडा अपना जेट उतारती है। पूरी टीम सामने खड़ी होकर इसे विनिंग बोवस देती है।अपना हेलमेट उतार कर अपने राइट साइड दबाए,अपने बालों को हवा में तैरा हुए, कल्पना अपनी टीम के पास पहुंचती है और यह पूरी टीम अपनी विनिंग को एंजॉय करती है।
इन पब्लिशिंग हाउस
ओके डन पब्लिश कर दो (ब्रांच सर ने गीतिका को यह वेपन स्मगलिंग की न्यूज को कॉलम देने का अप्रूवल दे दिया)
ओके डन सर (गीतिका अप्रूवल लेकर यहां से जाने लगती है)
आर यू ओके गीतिका (ब्रांच सर के सवाल पर गीतिका पीछे मुड़ गई)
यस यस सर आई एम फाइन आ एब्सलूट फाइन (गीतिका अपनी बात कहकर यहां से चली गई)
वहां पूरी ड्रैगन टीम अपनी विनिंग को एंजॉय करने के लिए।
सैम के घर पर पार्टी रखती है और सभी सैम के घर पहुंच जाते हैं, सेम अपने डैड से कल्पना को मिलवाता है, जो लांन में बैठकर अखबार पढ़ रहे थे। वह अखबार को टेबल पर रख देते हैं मोड़कर, कल्पना से बातें करने लगते हैं, उनकी बातों से साफ-साफ पता लग रहा था कि वह कल्पना को कितना सुनते हैं।
सैम से,अपने बेटे से, मगर कल्पना की नजर टेबल पर पड़े अखबार पर थी। जिस पर गीतिका का कॉलम साफ साफ दिख रहा था और कुछ पिक्चर्स दिख रही थी और उसके होठ "गीतिका चौहान"पर पढकर मुस्कुरा दिए थे। किसी अनजान जगह पर यह कॉलम उस गिरोह के हाथ भी लग जाता है।जिसका जिक्र इस कॉलम में हुआ है,इस गिरोह का लीडर बोलता है
एक तो हमारा एक आदमी गायब है ऊपर से यह खबर अखबार में कैसे छपी हां ?(और वह अपने आदमियों पर चिल्लाता है)
और फिर कहता है
इसकी गीतिका चौहान को ढूंढो और इसे खत्म करो इसके पास और न जाने क्या-क्या जानकारी होगी और सबसे पहले इस जगह को खाली करना होगा।(यह लीडर इन सबको ऑर्डर देता है)
और यह सब अपने अपने काम में लग जाते हैं।
आपने इससे कुछ पूछा एसीपी इमरान (कल्पना उस आदमी को एसीपी को दे चुकी थी)
उसी सिलसिले में वह आज यहां गई थी।
हां मैंने इससे पूछा लेकिन यह कुछ बोलने को राजी नहीं बट यू डोंट वरी,जरूर इसे हम बुलवा लेंगे।(एसीपी की बात पर कल्पना ने अपने चेहरे को दूसरी तरफ कर लिया)
मैं जानती थी,मैं जानती थी इसलिए मैं इसे यहां नहीं ला रही थी लेकिन अभी।(कल्पना ने अपने दांतों को पीसते हुए कहा)
अपने हाथ का पंच बनाते हुए उस आदमी की तरफ अपने आप को बढ़ा दिया और उसकी चेर पर जाकर अपने राइट बूट को रख दिया और उसी पंच को उस आदमी की जॉ लाइन पर बरसाने लगी जैसे वह उसका पंचिंग बैग हो उसके मुंह से खून निकलने लगा था और वह खून कल्पना के पंच पर भी लग चुका था।
उमरान उसे रोके इससे पहले ही कोई चुपके से कल्पना की पिक्चर ले लेता है।एसीपी उमरान कल्पना को खींच कर दूर कर लेते हैं और दो तीन हवालदार उस आदमी को ठीक करते हैं।क्योंकि वह ऑलमोस्ट ऑलमोस्ट अपनी चेयर से गिरने ही वाला था।
रिलैक्स रिलैक्स पांडा।
क्या रिलैक्स ऐसीपी इमरान क्या आप इससे कुछ भी नहीं बुलवा पाए? मुझे इसको यहां लाना ही नहीं चाहिए था,इसे मुझे वापस दे दीजिए।मैं इसके हलक से सब कुछ बूलवा लूंगी।(कल्पना ने गुस्से में आक्रोश में अपनी पूरी बात कही)
सर इसके मुंह से झाग निकल रहा है( एक हवलदार की बात पर यह दोनों फट से मुड़ गए)
पीछे उस आदमी की तरफ देखा कि यह आदमी तो चेर पर ही वाइब्रेट करने लगा था।
क्या हुआ इसे,इसे हॉस्पिटल लेकर जाओ(एसीपी उमरान ने अपने सिपाहियों को ऑर्डर दिया)
कोई कोई फायदा नहीं इसे हॉस्पिटल ले जाकर,कोई फायदा नहीं यह पुराना हथकंडा है उसका और उसकी गैंग का यही हथकंडा अपनाते हैं,यह इस बार भी एसीपी उमरान आप कुछ नहीं कर पाए कुछ भी नहीं।(कल्पना गुस्से में अपनी आंखों को लाल के यहां से निकल जाती है श)
बॉस काम हो गया (उस स्मगलिंग गैंग के लीडर से कैमरे वाले आदमी ने कहा)
वेरी गुड अब तुझे पता है ना इन फोटोस का क्या करना है और कहां भेजना है(उस लीडर ने उस आदमी से कहा)
अच्छे से बॉस अच्छे से पता है मुझे।
तो जाओ जल्दी करो (और वह लीडर फिर से इसे ऑर्डर देता है) यह आदमी यहां से चला जाता है।
पब्लिश हाउस गीतिका का कैबिन में गीतिका और अनू चाय पी रहे हैं।नोटिस बोर्ड पर कुछ चीजें पॉइंट आउट कर रहे हैं।तभी सूरज तेज कदमों के साथ इनकी तरफ बढ़ता है
गीतू गीतू (उसकी सांसें तेज थी)
यह दोनों इसकी तरफ फट से मुड़ गए
क्या हुआ तू हाप क्यों रहा है (अन्नू ने सूरज से पूछा)
सूरज ने सांसों को थामने की कोशिश करते हुए एक पैकेट अनू के सामने कर दिया अनू ने वह पैकेट खोला
माई गॉड यह पॉसिबल नहीं है यार (अनु ने व पैकेट खोलते ही कुछ पीक्चर देखी और कहा)
गीतिका ने हैरानी से इन दोनों की तरफ देखा और उसकी हैरानी आसमान पर हो गई जब उसने उन पिक्चर्स को देखा अनु के हाथ से लेकर इस बीच एक छोटा सा नोट नीचे गिरा गीतिका ने उस नोट को अपनी आंखों के सामने किया
"इस आदमी की मौत हो गई है और कैसे हुई है यह बताने की जरूरत नहीं।आई होप यह खबर आप छापें"
इसके आगे उस नोट में कुछ नहीं लिखा था यह नोट कुछ सिमिलर लगा
ट्स नॉट पॉसिबल यह नहीं हो सकता कम ऑन ये फेक लीड है(अनु ने अपनी संजीदगी भरी आवाज से सूरज के सामने होकर यह कहा)
या यू आर राइट हम नहीं छापेगें इसे (सूरज ने अनु की बात को सहमति देते हुए कहा)
मैं छापुगीं इसे, मैं छापुगीं (गीतिका की इस बात पर इन दोनों ने हैरान होकर इसे देखा)
तुम दोनों को कैसे पता कि यह फेक लीड है।यह औरत कुछ भी कर सकती है,कुछ भी। कल के कॉलम में यह न्यूज जरूर आएगी।
(यह कहते हुए गीतिका उस पैकेट को लेकर अपनी चेयर पर बैठ गई)।
" नमस्कार 🙏"
Comments
Post a Comment